हाइलाइट्स:
- TRP में छेड़छाड़ के मुद्दे पर संसदीय समिति का गंभीर रूख
- शशि थरूर की अध्यक्षता वाली समिति मुद्दे पर करेगी गौर
- मुद्दे को लेकर कार्ति चिदंबरम ने थरूर से किया था आग्रह
नई दिल्ली
कुछ चैनलों द्वारा ‘टेलीविजन रेटिंग प्वाइंट्स’ (TRP) में छेड़छाड़ करने संबंधी खबरों के बीच कांग्रेस सांसद शशि थरूर (Shashi Tharoor) की अध्यक्षता वाली सूचना एवं प्रौद्योगिकी से जुड़ी, संसद की स्थायी समिति ने इस मुद्दे पर गौर करने का फैसला किया है। जानकारी के अनुसार थरूर ने इस मामले में समिति के सामने पेश होने के लिए अधिकारियों को तलब भी कर लिया है। सूत्रों ने शुक्रवार को यह जानकारी दी।
कांग्रेस सांसद और इस समिति के सदस्य कार्ति चिदंबरम ने थरूर से आग्रह किया था कि इस मामले पर विचार हो। इसके साथ ही सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय के अधिकारियों को स्पष्टीकरण देने एवं उनकी ओर से उठाए सुधारात्मक कदमों के बारे में जानने के लिए समिति के समक्ष बुलाया जाए। सूत्रों ने बताया कि टीआरपी में छेड़छाड़ संबंधी खबरों को लेकर समिति गंभीर है और वह इस पर विस्तार से चर्चा करेगी।
कार्ति चिदंबरम ने थरूर को लिखे पत्र में कहा कि इसी व्यवस्था के आधार पर सरकार के विज्ञापनों का खर्च निर्धारित होता है और ऐसे में गलत आंकड़ों के आधार पर जनता का पैसा खर्च नहीं होना चाहिए। टीआरपी के माध्यम से यह तय होता है कि कौन सा चैनल अथवा कार्यक्रम सबसे ज्यादा देखा जा रहा है। कार्ति ने यह इस मामले पर समिति द्वारा गौर किए जाने की मांग उस वक्त उठाई है जब बृहस्पतिवार को मुंबई पुलिस ने दावा किया कि उसने टीआरपी में छेड़छाड़ के गिरोह का भंडाफोड़ किया है।
पत्र में कांग्रेस सांसद ने कहा,‘इस हालात को देखते हुए, आगे चर्चा किए जाने की जरूरत है। समिति को इस मुद्दे पर गौर करना चाहिए।’ पूर्व सूचना एवं प्रसारण मंत्री मनीष तिवारी ने भी कहा कि इस मामले को संसद और सरकार को गंभीरता से लेना चाहिए।
कुछ चैनलों द्वारा ‘टेलीविजन रेटिंग प्वाइंट्स’ (TRP) में छेड़छाड़ करने संबंधी खबरों के बीच कांग्रेस सांसद शशि थरूर (Shashi Tharoor) की अध्यक्षता वाली सूचना एवं प्रौद्योगिकी से जुड़ी, संसद की स्थायी समिति ने इस मुद्दे पर गौर करने का फैसला किया है। जानकारी के अनुसार थरूर ने इस मामले में समिति के सामने पेश होने के लिए अधिकारियों को तलब भी कर लिया है। सूत्रों ने शुक्रवार को यह जानकारी दी।
कांग्रेस सांसद और इस समिति के सदस्य कार्ति चिदंबरम ने थरूर से आग्रह किया था कि इस मामले पर विचार हो। इसके साथ ही सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय के अधिकारियों को स्पष्टीकरण देने एवं उनकी ओर से उठाए सुधारात्मक कदमों के बारे में जानने के लिए समिति के समक्ष बुलाया जाए। सूत्रों ने बताया कि टीआरपी में छेड़छाड़ संबंधी खबरों को लेकर समिति गंभीर है और वह इस पर विस्तार से चर्चा करेगी।
कार्ति चिदंबरम ने थरूर को लिखे पत्र में कहा कि इसी व्यवस्था के आधार पर सरकार के विज्ञापनों का खर्च निर्धारित होता है और ऐसे में गलत आंकड़ों के आधार पर जनता का पैसा खर्च नहीं होना चाहिए। टीआरपी के माध्यम से यह तय होता है कि कौन सा चैनल अथवा कार्यक्रम सबसे ज्यादा देखा जा रहा है। कार्ति ने यह इस मामले पर समिति द्वारा गौर किए जाने की मांग उस वक्त उठाई है जब बृहस्पतिवार को मुंबई पुलिस ने दावा किया कि उसने टीआरपी में छेड़छाड़ के गिरोह का भंडाफोड़ किया है।
पत्र में कांग्रेस सांसद ने कहा,‘इस हालात को देखते हुए, आगे चर्चा किए जाने की जरूरत है। समिति को इस मुद्दे पर गौर करना चाहिए।’ पूर्व सूचना एवं प्रसारण मंत्री मनीष तिवारी ने भी कहा कि इस मामले को संसद और सरकार को गंभीरता से लेना चाहिए।